Tuesday, October 22, 2024
Follow us on
ब्रेकिंग न्यूज़
केलांग में आपदाओं और आपात स्थितियों में बाल संरक्षण और बाल अधिकारों पर  कार्यशाला आयोजित जन्मजात विकारों की समयबद्ध जांच व चिकित्सा अनिवार्य: मुख्य चिकित्सा अधिकारी सफाई कर्मचारियों को मुख्य धारा में जोड़ने के लिए करें कार्य - अंजना पंवारनशा मुक्ति के लिए जानकारी एवं जागरूकता गतिविधियां महत्वपूर्ण –उपायुक्त मुकेश रेपसवालजनजातीय विकास मंत्री जगत सिंह नेगी  24 अक्टूबर से लाहौल स्पीति के प्रवास पर रहें गे।तीन.चार साल में एक बार अवश्य करवाएं अपनी मिट्टी की जांच 29 अक्तूबर से 28 नवम्बर तक मतदाता सूचियों का होगा पुनरीक्षण - अजय यादवभूकम्प के दौरान ‘झुको-ढको-पकड़ो’ का रखे ध्यान
-
कहानी

सगाई पर पहला तोहफा फोन;अर्चना त्रिपाठी सूर्य

-
अर्चना त्रिपाठी सूर्य | June 26, 2023 09:07 AM
फोटो:अर्चना त्रिपाठी सूर्य

 

बुआ की शादी की सालगिरह थी और सुबह-सुबह ही बुआ मुस्कुराती हुई आंगन में दिखाई दी मैंने बुआ से पूछा क्यों बुआ क्या बात है। आज तो बड़ी मुस्कान आ रही है फूफा जी क्या देने वाले हैं गिफ्ट में बुआ हल्का सा मुस्काई और झेपते हुए बोली नहीं, ऐसी बात नहीं है फूफा जी कोई गिफ्ट दे या ना दे उनका प्रथम गिफ्ट मुझे आज भी याद है जिसे स्मरण कर मुझे हर पल हंसी आती हैं। मैंने बोला ऐसा भी क्या गिफ्ट था बुआ ? बुआ ने बोला मेरा मजाक तू ना उड़ा तो मैं तुझे बता दूं, मैंने हां में सर हिलाया फिर बुआ ने बताया कि मेरी शादी जब फूफा जी से तय हुई थी तो सगाई में फूफा जी ने मुझे पहला तोफा मोबाइल फोन दिया था और कहा कि मैं इस पर अपना नंबर डायल कर दिया हूं मुझसे फोन से बात करना।

मैने हां में सर हिलाते हुए फोन को धीरे से अपने पास रख लिया ,मैने इससे पहले फोन को कभी हाथ भी ना लगाया था उस समय लैंडलाइन का जमाना था ,मुझे उसका प्रयोग कैसे करना है यह भी ज्ञात न था, उस फोन में चार्जर था मुझे इतना भी ज्ञान न था की फोन को चार्ज करना होगा और स्विच को ऑन करना होगा तभी तो फोन आ पाएगा मैं दिन भर फोन को हाथ में लिए घूर रही थी कि फूफा जी का तेरे फोन नहीं आया।

मुझे बहुत गुस्सा आया की फोन करना ना था तो ये उपहार ही क्यों दिया ? इस तरह से 3 दिन बीत गया चौथे दिन आंगन में बैठी फोन लिए निहार रही थी सभी भाभी आई और बोली इस फोन को क्या टुकुर टुकुर देख रही है फोन आया क्या दामाद जी का मैंने क्रोधित होकर फोन पटक दिया बेवजह डब्बा पकड़ा कर गए यह कहते हुए मैं वहां से चली गई तब भाभी ने देखा और मुस्कुराकर बोली कि फोन को पहले ऑन तो कर और चार्जर में लगा जैसे ही भाभी ने फोन को चार्ज में लगाया थोड़ी देर बाद ही फोन ऑन हो गया और तुम्हारे फूफा जी का फोन आ गया उन्होंने बोला तुमने फोन भी नहीं खोला था क्या ? मुझे फोन भी नहीं किया मैंने उन्हें सरमाते हुए यह कहा कि मुझे शर्म आ रही थी आपसे बात करने में ,ये बात ही याद कर मुस्कुरा रही थी की ये राज की बात आज तक तुम्हारे फूफा को नही पता की मैं फोन न चला पाने के कारण उनसे बात न कर पाई थी ।

मुझे याद है कि मेरे ज्ञान के अभाव में मुझे क्रोध भी आया और शर्मिंदगी भी आज फोन एक आम चीज है लेकिन मेरे लिए यह बहुत खास चीज है क्योंकि इससे मेरी बहुत प्यारी यादें जुड़ी हुई हैं बुआ की बातें सुनकर मैं भी मुस्कुरा दी और उन्हें बधाई देकर एक नया फोन गिफ्ट किया।

-
-
Have something to say? Post your comment
-
और कहानी खबरें
-
-
Total Visitor : 1,68,32,036
Copyright © 2017, Himalayan Update, All rights reserved. Terms & Conditions Privacy Policy